बीजेपी मुख्यालय के सामने प्रदर्शन करने वाले आम आदमी पार्टी के 93 सदस्यों में से 10 कॉलेज (AAP College Member) के छात्र हैं. सभी पिछले चार दिनों से गुजरात की साबरमती जेल में बंद हैं. यह जानकारी आप नेताओं और कोर्ट के दस्तावेजों से मिली है.
लिपिक परीक्षा में कथित पेपर लीक के खिलाफ ये सभी लोग अहमदाबाद में बीजेपी मुख्यालय के बाहर विरोध-प्रदर्शन कर रहे थे. इस मामले में साबरमती की सेंट्रल जेल (Sabarmati Jail) में आप के 93 सदस्य बंद हैं. उन सभी पर IPC की 22 धाराओं में केस दर्ज किए गए हैं. इनमें आपराधिक साजिश, महामारी अधिनियम और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान की रोकथाम अधिनियम की धाराएं शामिल हैं.
अहमदाबाद की साबरमती जेल (Sabarmati Jail) में बंद 65 लोगों के खिलाफ यौन शोषण के आरोप है. वहीं 28 महिला आरोपियों को जमानत दे दी गई है. इन्हें जेल से जल्द ही रिहा किया जा सकता है. कोर्ट के दस्तावेजों के मुताबिक गिरफ्तार लोगों में 6 आरोपियों की उम्र 18 से 19 साल के बीच है. आप नेताओं का कहना है कि जेल में बंद 10 छात्रों में से चार छात्र सुना संघर्ष समिति के सदस्य हैं, जब कि छात्र CYSS की युवा शाखा के हैं. गिरफ्तार किए गए सीवाईएसएस सदस्यों में इंस्टिट्यूट ऑफ इंफ्रास्ट्रक्चर टेक्नोलॉजी रिसर्च एंड मैनेजमेंट में इंजीनियरिंग का छात्र यतिन जियानी, लोकमान्य ग्रुप ऑफ कॉलेजों में कंप्यूटर एप्लीकेशन का छात्र अनमोल वाघसिया और बीबीए का छात्र अनुज शाह शामिल हैं.
पेपर लीक के खिलाफ AAP सदस्यों का प्रदर्शन
युवा विंग के सदस्यों में महेंद्रसिंह जाला, हरेश सोलंकी और माहिर शेख शामिल हैं. छात्र यतिन के पिता अरविंद जियानी ने बताया कि उन्होंने टीवी पर अपने बेटे की गिरफ्तारी की खबर सुनी. उन्होंने बताया कि उनका बेटा पार्टी के अन्य कार्यकर्ताओं के साथ धरना स्थल पर गया था. उन्होंने बताया कि उन्हें अपने बेटे के राजनीतिक जुड़ाव के बारे में पहले से ही पता था. वहीं छात्र अनमोल के माता-पिता जूनागढ़ में रहते हैं, उनसे फलहाल संपर्क नहीं हो पाया है. वहीं छात्र अनुज के माता-पिता ने इस मामेल पर कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया है. गिरफ्तार लोगों में सीवाईएसएस के प्रदेश अध्यक्ष धर्मिक मथुकिया भी शामिल हैं. सीवाईएसएस राज्य इकाई के उपाध्यक्ष अभिषेक सोलंकी का कहना है कि पुलिस ने 18 साल के बच्चों के खिलाफ इतनी कड़ी कार्रवाई क्यों की है.
93 AAP सदस्यों में 10 छात्र जेल में बंद
उन्होंने कहा कि वह सभी अपने लिए एक बेहतर भविष्य बनाने की कोशिश कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि वे सभी विधायक या सांसद नहीं बनना चाहते. वह बस इतना चाहते हैं कि इस तरह से पेपर लीक न हों और उनका भविष्य नष्ट होने से बच जाए. वहीं बचाव पक्ष के वकीलों ने कहा कि जेल में बंद आप सदस्यों पर जो आरोप लगाए गए हैं, उसके तहत सात साल तक की जेल हो सकती है. आप के वकील प्रणव ठक्कर ने कहा कि कोर्ट ने पासपोर्ट जब्त करके 28 महिलाओं को सशर्त जनामत दे दी है. उन सभी के गांधीनगर के इन्फोसिटी थाना क्षेत्र में प्रवेश पर रोक लगा दी गई है. उन्होंने कहा कि बाकी बचे 65 पुरुष आरोपियों की जमानत पर सुनवाई सोमवार को होगी.