जिंदगी बेहद कीमती होती है। एक छोटी सी गलती के कारण खुद को मौत के मुंह में पहुंचाना या जिंदगी से हाथ धो बैठना ठीक नहीं है। इसलिए महान विद्वान आचार्य चाणक्य ने अपने नीति शास्त्र में व्यक्ति को उन चीजों से आगाह किया है, जिनसे उसे हमेशा बचना चाहिए। चाणक्य की मानें तो संकट हर व्यक्ति के जीवन में आते हैं। संकट और बुरा वक्त कभी कभी व्यक्ति को सच्चा ज्ञान भी कराता है।
चाणक्य के अनुसार संकट के समय ही व्यक्ति को अपने और पराए का अंतर पाता चलता है। संकट के समय स्वार्थी और लोभी सबसे पहले साथ छोड़ देते हैं। व्यक्ति के बुरे समय में जो साथ खड़ा रहे और हर समय मदद तथा सहयोग के लिए तैयार रहें। ऐसे लोगों का साथ कभी नहीं छोड़ना चाहिए और इनका शुक्रिया अदा करना चाहिए। संकट के समय कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए। जो लोग चाणक्य की इन बातों का हमेशा ध्यान रखते हैं वे, संकटों का सामना आसानी से कर लेते हैं।
संकट को शत्रु की तरह लेना चाहिए
चाणक्य के अनुसार संकट को खतरनाक शत्रु की तरह लेना चाहिए। संकट को हमेशा चुनौती मान कर स्वीकार करना चाहिए।
संकट के समय धन का महत्व
चाणक्य के अनुसार संकट के समय धन की सही उपयोगिता समझ में आती है, इसलिए धन की बचत करनी चाहिए।