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Ayurveda: कब्ज के दौरान हैं तो न खाएं ये 3 चीजें, बढ़ सकती है मुश्किल

कॉन्सिटपेशन या कब्ज होना आम समस्या है। गर्मी में यह समस्या ज्यादा देखने को मिलती है। इसकी वजह यह है कि पारा बढ़ने के साथ आप डिहाइड्रेशन के जल्दी शिकार होते हैं। गर्मी की वजह से कई तरह की हेल्फ प्रॉब्लम्स हो सकती हैं। हालांकि कब्ज के लिए आप कुछ घरेलू उपाय भी कर सकते हैं जैसे पानी पीते रहें, सही न्यूट्रीशन लें और गर्मी से बचें।  यहां आयुर्वेद एक्सपर्ट के सुझाए कुछ उपाय हैं जो आपके काम आ सकते हैं।

कब्ज का आयुर्वेदिक इलाज, उपचार और दवा - Kabj ki ayurvedic medicine aur treatment in hindi

कुछ बिगाड़ सकते हैं सिचुएशन

कॉन्सटिपेशन ज्यादा वक्त तक रहे तो कई और तरह की समस्याओं को भी जन्म दे सकता है। अपने खान-पान पर ध्यान देकर इससे बचा जा सकता है। फाइबर रिच फूड आपके स्टूल को सॉफ्ट करके पास होने में मदद करता है। वहीं खाने की ही कुछ चीजें आपके स्टूल को हार्ड बना देती हैं। अगर आपको पहले से ही कब्ज है तो ये चीजें नहीं खानी चाहिए। हमारे सहयोगी एचटी डिजिटल से बातचीत में आयुर्वेद एक्सपर्ट डॉक्टर दीक्षा ने तीन चीजें बताई हैं जो कब्ज से परेशान लोगों को नहीं खानी चाहिए। यहां जानें वे कौन से फूड्स हैं।

कब्ज का अचूक इलाज हैं यह 10 घरेलू उपाय

जीरा

डॉक्टर दीक्षा बताती हैं, जीरा डाइजेशन के लिए अच्छा होता है लेकिन यह सूखा होता है और अवशोषित करने वाली प्रकृति का होता है। इससे आपका कब्ज और बिगड़ सकता है। वह बताती हैं, आयुर्वेद में जीरे को जीरका कहा जाता है। यह जीर्ण से बना है, जिसका मतलब है डाइजेशन। यह पित्त को बढ़ाता है। यह लघु यानी पचाने में हल्का है लेकिन शुष्क और ग्राही प्रकृति का है। इससे भूख बढ़ती है, डायरिया और इरिटेबल बॉवेल सिंड्रोम में काम आता है लेकिन कब्ज में नहीं।

दही

आयुर्वेद के मुताबिक, दही भी ग्राही प्रकृति का होता है और इसे कब्ज में नहीं खाना चाहिए। दीक्षा बताती हैं, दही रुच्य है मतलब टेस्ट बढ़ाता है, ऊष्ण है मतलब गर्म प्रकृति का है और वाताजित है मतलब वात को बैलेंस करता है लेकिन यह गुरु है मतलब यह पचाने में भारी होता है और यह ग्राही नेचर का होता है। इसलिए कब्ज में दही भी नहीं खाना चाहिए।

कैफीन 

अगर आपको लगता है कि कॉफी पीने से आपको कब्ज से राहत मिलती है तो आप गलती कर रहे हैं। कॉफी से आपका कॉन्सटिपेशन बिगड़ सकता है। डॉक्टर दीक्षा के मुताबिक, हम सबको लगता है कि कैफीन हमारे डाइजेस्टिव सिस्टम की मसल्स को स्टिम्युलेट करती है। लेकिन कैफीन डिहाइड्रेशन भी करती है। इससे मामला उल्टा पड़ सकता है। उन्होंने यह भी बताया कि अगर आपको कब्ज नहीं भी है तो कॉफी या चाय से दिन शुरू न करें बल्कि गुनगुने पानी में एक चम्मच गाय का घी सही चॉइस है।

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