India News

ऐसे कब तक बना रहेगा बेटी-रोटी का संबंध?

कोरोना संकट को लेकर लगभग एक वर्ष से भारत-नेपाल बॉर्डर सील है. जिससे दोनों देश के बीच कायम बेटी-रोटी के संबंध में खटास उत्पन्न हो रही है। साथ ही बॉर्डर सील रहने के कारण दोनों देश के बीच विवाह संबंधों में भी कठिनाई हो रही है। बॉर्डर से वाहन प्रवेश की अनुमति मिलने की स्थिति में दूल्हा-दुल्हन बाइक व पैदल नदी हेलकर ससुराल जाने को विवश हैं। गुरुवार को बॉर्डर से सटे सोनबरसा त्रिभुवन नगर के बीच झीम नदी पर कुछ इसी प्रकार का दृश्य देखने को मिला।

बाइक से पार किया नदी की मझधार: बॉर्डर से प्रवेश नहीं मिलने पर दोनों देशों के बीच होकर बहने वाली झीम नदी पार कर लोग आवागमन करते हैं। इसी तरह गुरुवार को नव विवाहित दूल्हा अपनी दुल्हन को बाइक पर बैठकार नदी को पार कराया। वहीं अन्य बाराती लोग पानी हेलकर आरपार हुए।

लोगों ने बताया कि जहां शादी में दूल्हा-दुल्हन फूलों से सजी गाड़ी पर बैठकर ससुराल जाते हैं। वहीं सीमावर्ती क्षेत्र के वर-वधु का दुर्भाग्य ही है कि जान जोखिम में डाल नदी हेलकर या फिर बाइक से से आवाजही करनी पड़ रही है।

दूल्हे की गाड़ी को भी नहीं मिला प्रवेश: प्रखण्ड अंतर्गत दोस्तियां पंचायत के बसहिया निवासी दूल्हा अहमद शेख व नेपाल के त्रिभुवन नगर निवासी दुल्हन का भाई शेख रहमत ने बताया कि लाख आरजू मिन्नत के बाद भी दूल्हा की गाड़ी की बॉर्डर से प्रवेश की अनुमति नहीं मिली। बाराती व दूल्हा को मायूस होकर लौटना पड़ा। इसके बाद कारण झीम नदी पार त्रिभुवननगर से बयलबांस के लिये दूल्हा एवं बरातियों के लिये अतिरिक्त खर्च पर स्कॉर्पियो व एक बस की व्यवस्था की।

Related Articles

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

Back to top button